इंदौर : धार राजघराने की महारानी मृणालिनी देवी की जमीन को लेकर अब इंदौर हाइकोर्ट में सुनवाई पूरी हो गई है, जिसमें महारानी के 16 उत्तराधिकारी होने और वसीयत मिलने के बाद न्यायालय के द्वारा यह फैसला सुनवाया है। गौरतलब है कि महारानी मृणालिनी देवी का कोई संतान नहीं थी और उनका निधन आठ साल पहले हो गया है। वह वडोदरा राजघराने की बेटी थी। इंदौर संभाग के अलग-अलग हिस्सों में हजारों बीघा जमीन हैं। लेकिन कोई वारिस नहीं होने की वजह से उनकी जमीन सरकारी हो रही थी। महारानी के निधन के आठ साल बाद चार हेक्टेयर भूमि पर दावेदारी पेश की थी।
न्यायालय द्वारा केस की सुनवाई करते हुए रजिस्टर्ड 16 उत्तराधिकारी सामने आने और वसीयत में उनके नाम का उल्लेख मिलने के बाद न्यायालय के द्वारा इस मामले में हुई सुनवाई के बाद फैसला सुनाया है। जिसमें अब तहसीलदार को फिर से एक बार नामांतरण प्रक्रिया करने के लिए निर्देशित किया गया है। इस मामले में अधिवक्ता विभोर खंडेलवाल ने जानकारी देते हुए बताया कि महारानी मृणालिनी देवी की संपत्ति 500 से 1000 करोड़ की है। जिसमें धार, इंदौर और कई जगह पर उन